Market Crash: सेंसेक्स लगातार दूसरे दिन औंधे मुंह गिरा, निवेशकों के 2.33 लाख करोड़ डूबे; जानें गिरावट के 5 कारण

थर्ड आई न्यूज

नई दिल्ली l भारतीय शेयर बाजार में लगातार दूसरे दिन भारी गिरावट देखने को मिली। मंगलवार (17 दिसंबर) को बीएसई सेंसेक्स 1064 अंकों की गिरावट के साथ 80684 पर बंद हुआ, जबकि निफ्टी भी 332 अंक लुढ़ककर 24336 पर क्लोज हुआ। यूएस फेड की बुधवार को होने जा रही मीटिंग से पहले निवेशकों ने सावधानी दिखाई है। आज रिलायंस इंडस्ट्रीज, इंफोसिस और एचडीएफसी बैंक जैसे दिग्गज शेयरों में कमजोरी के कारण बाजार नीचे आया। BSE लिस्टेड कंपनियों का कुल मार्केट कैपिटलाइजेशन (MCap) 2.33 लाख करोड़ रुपए घटकर 257.73 लाख करोड़ रुपए रह गया।

कौन हैं टॉप गेनर और लूजर?
सेंसेक्स में गिरावट के प्रमुख कारण रिलायंस इंडस्ट्रीज, एचडीएफसी बैंक, इंफोसिस, भारती एयरटेल और आईसीआईसीआई बैंक रहे। वहीं, टाटा मोटर्स, अडाणी पोर्ट्स, टेक महिंद्रा, एचयूएल और पावर ग्रिड जैसे शेयरों में खरीदारी देखने को मिली।

जानिए मार्केट क्रैश की 5 बड़ी वजह :
1) फेडरल रिजर्व मीटिंग से पहले अनिश्चितता
बुधवार को होने वाली यूएस फेडरल रिजर्व की बैठक से पहले निवेशकों ने सतर्क रुख अपनाया। बैठक में ब्याज दरों में 25 बेसिस पॉइंट की कटौती की संभावना है, लेकिन 2025 की दर नीति को लेकर स्पष्टता की कमी ने बाजार को प्रभावित किया। जियोजित फाइनेंशियल सर्विसेज के मुख्य निवेश रणनीतिकार विजयकुमार ने कहा है कि अगर फेडरल रिजर्व का बयान उम्मीद से अलग हुआ तो बाजार पर नकारात्मक असर पड़ेगा।

2) चीन की अर्थव्यवस्था में मंदी
नवंबर के आंकड़ों में चीन की रिटेल बिक्री केवल 3% बढ़ी, जो अक्टूबर के 4.8% से कम है। औद्योगिक उत्पादन की वृद्धि भी धीमी रही। इस मंदी से वैश्विक कमोडिटी मांग प्रभावित हो सकती है, जिससे भारत के मैटल, एनर्जी और ऑटो सेक्टर पर असर पड़ा।

3) डॉलर में मजबूती आई
डॉलर इंडेक्स 106.77 पर स्थिर रहा। मजबूत डॉलर से भारतीय शेयरों में विदेशी निवेश कम होता है और भारतीय कंपनियों की डॉलर-निर्भर देनदारी महंगी हो जाती है।

4) व्यापार घाटे में वृद्धि
नवंबर में भारत का व्यापार घाटा ₹37.84 बिलियन तक पहुंच गया, जो अक्टूबर के ₹27.1 बिलियन से अधिक है। बढ़ता व्यापार घाटा रुपए पर दबाव डाल सकता है, जिससे रुपया डॉलर के मुकाबले ₹85 तक गिर सकता है।

5) अंतरराष्ट्रीय बाजार के रुझान
भारतीय बाजारों ने वैश्विक बाजारों का ट्रेंड फॉलो किया है। आज एशियाई और यूरोपीय बाजारों में कमजोरी दिखी। एमएससीआई एशिया-पैसिफिक इंडेक्स 0.3% गिरा, जबकि यूरोपियन और जापानी बाजारों में भी सुस्ती रही।

अमेरिकी फेडरल रिजर्व मीटिंग, चीन में आर्थिक मंदी और मजबूत डॉलर जैसे वैश्विक कारकों ने भारतीय बाजार में बिकवाली का माहौल बनाया। विशेषज्ञों का मानना है कि अगले कुछ दिनों में फेड की बैठक और वैश्विक आर्थिक संकेतक बाजार की दिशा तय करेंगे।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *